जीवन का बलिदान कर कारसेवकों ने गढ़ी मंदिर निर्माण की राह - विहिप

अयोध्या श्रीराम जन्मभूमि आंदोलन के दौरान 1990 में रामभक्त कारसेवकों पर गोलीबारी से सैकड़ों भक्त बलिदान हुए इस दिन को हुतात्मा दिवस के रूप में संघ विहिप से जुड़े लोग मनाते हुए अपना जीवन अर्पण करने वाले कारसेवक के बलिदान को याद करते हुए पुष्पांजलि अर्पित करते हुए रक्तदान सहित सेवा कार्य किया जाता है ।

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( हुतात्मा दिवस पर विहिप ने किया रामभक्त कारसेवकों के बलिदान को याद  )

जोधपुर । अयोध्या श्रीराम जन्मभूमि आंदोलन के दौरान 1990 में रामभक्त कारसेवकों पर गोलीबारी से सैकड़ों भक्त बलिदान हुए इस दिन को हुतात्मा दिवस के रूप में संघ विहिप से जुड़े लोग मनाते हुए अपना जीवन अर्पण करने वाले कारसेवक के बलिदान को याद करते हुए पुष्पांजलि अर्पित करते हुए रक्तदान सहित सेवा कार्य किया जाता है । कार्तिक पूर्णिमा को होने वाले हुतात्मा दिवस की पूर्व संध्या पर मंगलवार को शहर के गौरव पथ के महेंद्रनाथ आरोड़ा चौराहे पर शाम 5 बजे से सुंदरकांड पाठ रक्तदान शिविर के साथ कारसेवक आरोड़ा को पुष्पांजलि अर्पित की गई। 
विहिप जिला मंत्री तरुण सोतवाल ने बताया कि कार्यक्रम में मुख्य वक्ता रहे प्रांत अध्यक्ष डॉ राम गोयल ने आंदोलन में कारसेवकों की महत्वपूर्ण भूमिका पर बात करते हुए कहा कि उनके बलिदान से ही आज करोड़ों हिंदू समाज के लोगों का स्वप्न साकार हुआ दिव्य भव्य मंदिर में रामलल्ला विराजमान हुए । इस राम जन्मभूमि मुक्ति आंदोलन ने देश में सनातन संस्कृति के लोगों की सोई चेतना को जगाने का काम किया ।
दक्षिण मंत्री विवेक महर्षि ने बताया कि सेवा ही सम्मान के तहत हुए रक्तदान शिविर में 50 से अधिक युवाओं के रक्तदान किया । 
प्रांत के सह सत्संग प्रमुख जितेंद्र शर्मा व नीलकंठ सुंदरकांड मण्डली द्वारा संगीतमय पाठ कर श्रद्धा सुमन अर्पित किया गया ।
इस अवसर पर उपाध्यक्ष मानाराम विश्नोई विभाग मंत्री विक्रांत अग्रवाल पंडित राजेश दवे विक्रम परिहार दयाल प्रजापत श्रीनाथ आरोड़ा प्रदीप सांखला सहित पदाधिकारी और आरोड़ा परिवार के लोग उपस्थित थे ।

Author
Rajendra Harsh
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